हम सैनिक भारत देश के।
हाँ सैनिक भारत देश के।
बर्दी हमारी खाकी रंग की।
पैरों में बूट सिर पर है टोपी।
एकरूपता की शान लिए हम,
लगते हैं अच्छे यह वेश में।
हम सैनिक भारत देश के।
जब भी मुख हम खोलते।
भारत की जय हम बोलते।
महा मंत्र है यही हमारा ,
जपते जय-जय देश की।
हम सैनिक भारत देश के।
बढ़ते जाते हम सीना तान।
हथेली पर हम रखकर जान।
जान की अपनी दे कुर्वानी,
रक्षा करते हम देश की।
हम सैनिक भारत देश के।
कदम न अपना रूकने देंगे।
झंडे को हम ना झुकने देंगे।
माँ की रक्षा करते जाएँ,
हम सारे दुश्मन देश से।
हम सैनिक भारत देश के।
सुजाता प्रिय 'समृद्धि'
स्वरचित
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